नई दिल्ली। Azan Vs Chalisa : 2014 में मोदी सरकार के सत्ता में आने के बाद से लिंचिंग और धार्मिक उन्माद के मामलों में लगातार बढ़ोतरी हुई है. कई लोग इस बात से इत्तफाक नहीं रखते हो लेकिन इसे पूरी तरीके से नकारा नहीं जा सकता. हिजाब पर विवाद हो या फिर भगवा रंग की बहस बीजेपी ने माइलेज लेने का कोई मौका नहीं छोड़ा है. ऐसे में एक बार फिर से अब अजान वर्सेस हनुमान चालीसा का पाठ सुर्खियां बटोर रहा है. उत्तर प्रदेश में खासकर ये विवाद थमने का नाम नहीं ले रहा है. हालांकि इस तरह की राजनीति हमेशा से भाजपा को सूट करती आई है लेकिन योगी सरकार के लिए यह परेशानी का सबब बन सकती है. इसके पीछे का सबसे बड़ा कारण घात लगाई समाजवादी पार्टी है.
Azan Vs Chalisa : 2022 के उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव में योगी आदित्यनाथ को प्रचंड बहुमत मिला था. चुनाव के परिणामों के आने के बाद इस बात का भी खुलासा हुआ था कि इस बार मुस्लिम वोट भी भाजपा को मिले हैं. दूसरी ओर मौलवी प्रकरण में यह बात साफ हो गई कि उत्तर प्रदेश का मुस्लिम अखिलेश यादव और सपा से नाराज है. कहा जा सकता है कि योगी आदित्यनाथ के सामने दोहरी परेशानी आ गई है. एक और भाजपा का कोर वोटर है तो दूसरी ओर भाजपा से जुड़े नए नए जुड़े मुस्लिम परिवार है. जिस तरह से यह मामला तूल पकड़ रहा है उससे आने वाले समय में एक भी दांगा ना होने देने का दावा करने वाले सीएम को परेशानी हो सकती है.
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अज़ान के विरोध में लाउडस्पीकर पर हनुमान चालीसा का पाठ।
महिलाएं और बच्चे भी रहे शामिल, हिंदूवादी नेता शिवानंद तिवारी ने कहा- रोज सुबह और शाम 5 बजे अज़ान के वक़्त कराया जाएगा हनुमान चालीसा का पाठ, गांधी पार्क इलाके का मामला।#AzanVsHanumanChalisa pic.twitter.com/o0Vp2Xzgyl— TV9 Uttar Pradesh (@TV9UttarPradesh) April 15, 2022
Azan Vs Chalisa : हालात ये हैं कि काशी में तो बकायदा 5 बाद नमाज की तर्ज पर हनुमान चालीसा का पाठ करना शुरू भी कर दिया गया है. बताया गया है कि इसके लिए जो 1 मंदिरों का चयन किया गया है और इन संबंधों के ऊपर लाउडस्पीकर लगाए गए हैं. इतना ही नहीं इन मंदिरों में बकायदा लोगों को हनुमान चालीसा पढ़ने के लिए दिशानिर्देश जारी किए गए हैं. भारत में सबसे पहले लाउडस्पीकर में होने वाले अजान का मुद्दा उठाने वाले सोनू निगम ने भी नहीं सोचा होगा कि यह बात इतनी आगे तक जाएगी. कहा जा सकता है कि राजनीतिक पार्टियों की हेट स्पीच में अब जनता को भी मजा आने लगा है.
चलो एक पूर्व अन्धभक्त सोनू निगम की आँख तो खुल गयी।
बाक़ी अंधभक्तों की भी खुल जायें शायद इनकी बात सुनकर! pic.twitter.com/rnZZHMjNUq— Surendra Rajput (@ssrajputINC) April 15, 2022
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Azan Vs Chalisa : ऐसा नहीं है कि ये हाल सिर्फ काशी का है. आजमगढ़ में विश्व हिंदू मंच के कार्यालय के बाहर भी लाउडस्पीकर लगाए गए हैं. ज्ञानवापी मुक्त आंदोलन के नेताओं ने अपने छात्रों पर लाउडस्पीकर भी लगा लिए हैं. सबसे बड़ी बात यह है कि जिस तरह दिन के 24 घंटे में 5 बार नमाज पढ़ी जाती है उसी तरह हनुमान चालीसा भी पढ़ा जाएगा. बताया गया है कि हिंदू धर्म के अनुसार हनुमान चालीसा का 5 बार पाठ करने का नियम बताएं गया है जो बिल्कुल नमाज की तरह होता है. जानकारों का मानना है कि यह जरूरी नहीं है लेकिन लाउडस्पीकर में होने वाले अजान के विरोध में ये प्रथा काशी से यह शुरू किया जा रहा है. लोगों का कहना है कि देश की सर्वोच्च अदालत ने मंदिरों से लाउडस्पीकर हटवा दिए थे तो फिर नमाज क्यों होने दिया जाता है.
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